नई दिल्ली ब्यूरो : भारत सरकार ने पुलिस विभाग में उत्कृष्ट और अति विशिष्ट योगदान देने वाले कई आईपीएस अधिकारियों को गणतंत्र दिवस के दिन राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा.
राष्ट्रपति पुरस्कार के लिए आईपीएस रविंंद्र सिंघल, दत्तात्रेय कराले, सुनील फूलारी और रामचंद्र केंद्र का नाम शामिल किया गया हैं. पुलिस विभाग में अति विशिष्ट योगदान और सेवाओं के लिए इन अधिकारियों को यह पुरस्कार दिया जाएगा. इन चार आईपीएस अधिकारियों के अतिरिक्त, विशिष्ट योगदान के लिए आईपीएस वीरेंद्र मिश्रा, संजय दराडे, आरती सिंह, चंद्र किशोर मीना, दीपक सकोरे और राजेश बनसोडे को भी राष्ट्रपति पुरस्कार से नवाजा जाएगा. इन अधिकारियों को उनके विभिन्न अभियानों, सेवा में अनुशासन और समाज की सुरक्षा में उनके द्वारा किए गए सराहनीय कार्यों के लिए यह सम्मान मिलेगा. इसके अलावा, इस वर्ष 38 अन्य पुलिस अधिकारियों को भी राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा. यह पुरस्कार उनके द्वारा प्रदर्शित नेतृत्व, कर्तव्यनिष्ठा, और कठिन परिस्थितियों में पुलिस सेवा को बेहतर बनाने के लिए किए गए कार्यों की सराहना के रूप में दिया जाएगा. यह पुरस्कार पुलिस सेवा के क्षेत्र में उत्कृष्टता के प्रतीक के रूप में देखा जाता है और इन सम्मानित अधिकारियों की कड़ी मेहनत और समर्पण को सार्वजनिक रूप से स्वीकार किया जाता है.
डॉ. रवींंद्र कुमार सिंगल

नागपुर शहर के पुलिस आयुक्त डॉ. रवींंद्र कुमार सिंगल को उनके उत्कृष्ट कार्यों के लिए राष्ट्रपति पदक प्रदान किया जाएगा. डॉ. सिंगल वर्ष 1996 के महाराष्ट्र कैडर के आईपीएस अधिकारी है. उन्होंने 28 वर्ष की सेवा में विविध महत्वपूर्ण पदों पर काम किया है. डॉ. सिंगल मूलत: हरियाणा निवासी है, उन्होंने दिल्ली से इंजिनियरिंग की है. अमरावती, नाशिक ग्रामीण, धुले, नांदेड, नागपुर रेलवे, मुंबई रेलवे आयुक्त, नाशिक शहर पुलिस आयुक्त, औरंगाबाद विभाग के विशेष पुलिस महानिरीक्षक, महाराष्ट्र राज्य कानून नियंत्रण और महाराष्ट्र यातायात विभाग के अतिरिक्त पुलिस महासंचालक जैसे विविध पदों पर उन्होंने काम किया है. डॉ. सिंगल ने वर्ष 2003 में नाशिक जिला पुलिस अधीक्षक रहते हुए कुंभ मेले का आयोजन संभाला था. उन्हें 2013 में उत्कृष्ट सेवा पदक मिला था. वर्ष 2019 में महाराष्ट्र सरकार का ‘विशेष सेवा पदक’ भी मिला. उन्हें 2020 में ‘आंतरिक सुरक्षा सेवा पदक’ और वर्ष 2022 में ‘इंडिया मानवी पुरस्कार से सम्मानित किया जा चुका है.
आरती सिंह

महाराष्ट्र की स्पेशल आईजीपी आरती सिंह 2006 बैच की आईपीएस अधिकारी है. एमबीबीएस हो चुके इस अधिकारी ने गढ़चिरोली जिले के सबसे संवेदनशिल भामरागढ़ के एएसपी के रूप में काम किया है. गढ़चिरोली की एडिशनल एसपी, भंडारा, नागपुर, सीआईडी नागपुर, औरंगाबाद, नाशिक अमरावती की एसपी रह चुकी आरती सिंह ने मुंबई में एडिशनल कमिश्नर के तौर पर भी काम किया है. उन्हें 2011 में विशेष सेवा पदक, लोकमत सखी अवार्ड, कोविड वुमेन वॉरियर, लोकमत महाराष्ट्रीयन ऑफ द ईयर अवार्ड से सम्मानित किया जा चुका है. उल्लेखनीय है कि वह एकमात्र महिला पुलिस कमिश्नर है जिन्हे फोर्बस वर्ल्ड मैग्जिन में स्थान मिला है.
चंद्र किशोर मीना

महाराष्ट्र के एंटी टेररिस्ट स्क्वॉड के स्पेशल आईजीपी चंद्र किशोर मीना को उनके उत्कृष्ठ कार्यों के लिए राष्ट्रपति पुरस्कार घोषित किया गया है. उन्होंने 2009 में बतौर एएसपी गढ़चिरोली में एंटी नक्सल ऑपरेशन को लीड किया था. सामाजिक सौहार्द्र बनाए रखने में उनकी भूमिका, अकोला के बतौर एसपी क्राइम डिटेक्शन और इन्वेस्टिगेशन, मुंबई के डीसीपी रहते कोविड महामारी में प्रबंधन कार्य, जी-20 के नोडल अधिकारी के तौर पर उनके द्वारा किए गए कार्य और क्रिटिकल टेरर इन्वेस्टिगेशन में उनकी भूमिका को देखते हुए इस सम्मान से उन्हें सम्मानित किया जा रहा है.
सुनील फुलारी
कोल्हापुर रेंज के 2004 बैच के पुलिस महानिरीक्षक सुनील फुलारी को उनके उत्कृष्ट कार्यों के लिए राष्ट्रपति पदक प्रदान किया जाएगा. फुलारी ने पुलिस सेवा के आरंभिक कार्यकाल के दौरान गढ़चिरोली, चंद्रपुर जिले में भी काम किया है. उन्होंने नागपुर, जलगांव, सांगली, पुणे, नाशिक शहर में भी अपनी सेवाएं दी है. उनके मार्गदर्शन में वन्यजीव तस्करों का गिरोह पकड़कर उनसे 45 करोड़ का माल बरामद किया गया था. पुणे शहर में साईबर अपराध शाखा के डीसीपी पद पर कार्यरत रहते हुए फुलारी ने वहां पर साइबर लैब बनाई थी. उल्लेखनीय है कि उन्हें दूसरी मर्तबा यह सम्मान मिलने जा रहा है.
संजय दराडे

केंद्र सरकार ने भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) के 2005 बैच के अधिकारी संजय भास्कर दराडे को प्रतिष्ठित राष्ट्रपति पुलिस पदक प्रदान करने की घोषणा की है. नागपुर में डीसीपी, भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो में एसपी के रूप में कार्य करते हुए, दराडे ने विशेष रूप से भ्रष्टाचार से संबंधित संवेदनशील मामलों को कुशलतापूर्वक संभाला. दराडे ने धाराशिव, यवतमाल और नासिक ग्रामीण जिलों में भी एसपी का पद संभाला है. नासिक ग्रामीण में एक अंतरराज्यीय गिरोह से 44 रायफलें, रिवॉल्वर और 4,000 से अधिक जिंदा कारतूस जब्त करने के अभियान में उनकी नेतृत्व क्षमता सामने आई थी.